अब भगवान जगन्नाथ के रथ में लगेंगे लड़ाकू विमान 'सुखाई' के टायर
इस साल पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता में होने वाली भगवान जगन्नाथ की रथ यात्रा काफी खास होने वाला है। भगवान जगन्नाथ के रथ में रूसी सुखोई SU-30 MKI लड़ाकू विमान के टायर लगाए जाएंगे। रथ में पुराने हो चुके बोइंग-747 के पहियों के स्थान पर नए टायर की दो दशक से चल रही तलाश अब जाकर पूरी गई है।
उबड़-खाबड़ सड़कों पर स्मूथ तरीके से चलगा रथ
सालाना उत्सव का आयोजन करने वाली अंतर्राष्ट्रीय कृष्ण चेतना सोसायटी (ISKCON) कोलकाता ने इस बदलाव की पुष्टि की है। कई सालों से यह टायर घिसे-पिटे थे, जो मूल रूप से जंबो जेट से मंगाए गए थे। भारतीय निर्माता एमआरएफ द्वारा आपूर्ति किए गए नए सुखोई टायर कोलकाता की उबड़-खाबड़ सड़कों पर बहुत ही स्मूथ तरीके से चलेगा।
जानिए कब होनी है ये रथ यात्रा?
इस साल 27 जून को होने वाली शोभायात्रा में रथ की गति 1.4 किलोमीटर प्रति घंटा होगी, जो सुखोई की 280 किलोमीटर प्रति घंटे की उड़ान गति से काफी अलग है। उम्मीद है कि भगवान की सालाना यात्रा के दौरान हजारों श्रद्धालु सड़कों पर उमड़ेंगे।
पहले से लगे बोइंग-747 के टायर हुए खराब
साल 1977 में लगाए गए मूल टायर, सेकंड-हैंड बोइंग-747 के पहिए थे। इन्हें इस्कॉन के एक सदस्य ने दान किया था। जब रथों का निर्माण पहली बार किया गया था। समय के साथ अब वे खराब हो गए हैं। उन्हें बार-बार मरम्मत की आवश्यकता पड़ी है।
कई सारी रिसर्च के बाद लिया गया ये फैसला
इस्कॉन कोलकाता के उपाध्यक्ष राधारमण दास ने कहा कि हमने पहले डनलप से संपर्क किया। उन्होंने ये टायर बनाना बंद कर दिया था। कई सारी रिसर्च के बाद हमने पाया कि सुखोई टायर सबसे बेहतर विकल्प हैं।
करीब 16 टन का वजन सहेंगे रथ के चारो टायर
इसकी चुनौती को लेकर उन्होंने कहा कि यह सुनिश्चित करना कि नए टायर रथ के भारी वजन को संभाल सकें। दास ने कहा, 'एक विशाल रथ के लिए वजन मापने का पैमाना ढूंढना एक बहुत बड़ा काम था। आखिरकार हम इसका वजन करने में कामयाब रहे और यह करीब नौ टन का रथ निकला है। यात्रा के दौरान रथ पर श्रद्धालुओं के वजन को ध्यान में रखते हुए, हमने महसूस किया कि टायरों को करीब 16 टन वजन सहने की जरूरत होगी।'
जानिए कितनी है इन टायरों की कीमत?
इसके लिए बोइंग के बाद अब सुखोई के टायर लगाए जाने हैं। चार टायरों के एक सेट की कीमत 1.80 लाख रुपए है, जिन्हें इस साल की शुरुआत में डिलीवर किया गया था।